ज्यादातर लोग गोल्ड ज्वैलरी, प्रॉपर्टी पेपर्स आदि इम्पोर्टेन्ट चीजों को सुरक्षित रखने के लिए बैंक लॉकर का इस्तेमाल करते हैं।
सेविंग्स अकाउंट, एफडी व कई स्कीम्स की तरह ही बैंक लॉकर को लेते टाइम भी नॉमिनेशन जरूरी है
ताकि लॉकर खुलवाने वाले व्यक्ति की मृत्यु होने के बाद लॉकर में रखा सामान उस व्यक्ति के नॉमिनी को मिल जाए।
आपको बता दें कि बैंक लॉकर के नॉमिनी को लेकर रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) के क्या नियम हैं।
(1)बैंक लॉकर नॉमिनी भी जारी रख सकता है लॉकर का यूज.
RBI के अनुसार अगर किसी व्यक्ति यानी की धारक ने अपने लॉकर के लिए नॉमिनी चुना है तो बैंक उस लॉकर धारक की मौत के बाद नॉमिनी को लॉकर को एक्सेस करने और
उसका सामान निकालने का अधिकार देता है। नॉमिनी चाहे तो बैंक लॉकर जारी रख सकते है या फिर लॉकर की चीजें निकालकर उसे बंद भी कर सकते है।
(2) अगर नहीं है कोई भी नॉमिनी
अगर लॉकर धारक ने लॉकर के लिए कोई नॉमिनी नहीं बनाया है तो बैंकों को RBI का निर्देश है कि
वह लॉकर धारकों के एडवोकेट के साथ डिसीजन ले कर लॉकर की एक्सेस, लॉकर धारकों(अगर जॉइंट लॉकर है) के बेटे या बेटी को देंगे।
(3) जॉइंट लॉकर है तो क्या करें
अगर लॉकर जॉइंट में खोला गया है और खुलवाने वाले में से किसी एक धारक ने या दोनों धारकों ने नॉमिनी नियुक्त किया है तो
लॉकर दोनों धारकों में से किसी एक की मृत्यु होने पर नॉमिनी और दूसरे लॉकर धारक के साथ लॉकर एक्सेस कर सकता है।
(4)लॉकर की चीजें निकालने से पहले बनती है पूरी इन्वेंट्री
लॉकर धारक की मृत्यु होने पर नॉमिनी या उस बैंक का अगर कोई होल्डर है तो बैंक लॉकर से चीजें निकालने की परमिशन देने से पहले बैंक उस लॉकर में रखी चीजों की इन्वेंट्री बनाती है।
यह इन्वेंट्री नॉमिनी या बैंक होल्डर की मौजूदगी में बनाए जाते है।तो ये थी जानकारी बैंक की प्रक्रिया से जुड़ी हुई ।