ऑप्शन चैन क्या है इसे कैसे पढ़े ? What is Option chain? ऑप्शन ट्रेडिंग क्या है | कॉल ऑप्शन क्या है | डेरिवेटिव क्या है | फ्यूचर ट्रेडिंग क्या है | ऑप्शन मीनिंग इन हिंदी | पुट क्या होता है | ऑप्शन ट्रेडिंग मराठी | Option trading in Hindi pdf | ऑप्शन चैन को कैसे समझें? |ऑप्शन ट्रेडिंग कैसे की जाती है? | ऑप्शन ट्रेडिंग में कितना चार्ज लगता है? |ऑप्शन ट्रेडिंग क्या होती है in Hindi? इन सभी सवालों के जवाब इस पोस्ट पर
ऑप्शन चैन क्या है इसे कैसे पढ़े ? What is Option chain?
इस पोस्ट पर कवर होने वाले सभी महत्वपूर्ण टॉपिक्स जो एक ट्रेडर को जानना जरुरी है, उन सभी मुख्य बिंदुओं को मै पोस्ट पर कवर किया हु इन्हे अध्ययन करने के बाद आपको काफी कुछ ऑप्शन चैन के बारे में जानकारी मिलने वाली है अतः इस पोस्ट को आप जरू पूरा पढ़े
क्या आप एक डे ट्रेडर (Day Trader) है ?
A) ऑप्शन चैन क्या होती है? (What is Option chain?)
B) ऑप्शन चैन को कैसे समझते है ? (How to undertand Option Chain?)
(1) ऑप्शन के प्रकार (Options Types)
(2) स्ट्राइक मूल्य (Strike Price)
(3) ओपन इंट्रेस्ट (OI)
(4) ओपन इंट्रेस्ट में बदलाव (Chng in Ol)
(5) ओपन इंट्रेस्ट वॉल्यूम (Open Interest Volume)
(6) अंतर्निहित अस्थिरता (Implied Volatility)
(7) अंतिम ट्रेडेड मूल्य (Last Traded Price)
(8) शुद्ध परिवर्तन (Net Change)
(9) बोली मात्रा (Bid Qty)
(10) बोली मूल्य (Bid Price)
(11) पूछा हुवा मूल्य (Ask Price)
(12) पूछी हुवी मात्रा (Ask Qty)
क्या आप एक डे ट्रेडर (Day Trader) है ?
ऑप्शन ट्रेडिंग (Option Trading) शुरु करने से पहले ऑप्शन चैन चार्ट (Option Chain Chart) को समझना आपको बहुत जरुरी है, हलाकि शुरू के समय में आपको ऑप्शन चैन चार्ट का डेटा बहुत ही जटिल तथा भूलभुलैया की तरह लगता है। और इसको समझना भी काफी कठिन आपको लग सकता है । इस आर्टिकल के जरिये , मै आपको उसी कठिनाई समस्या को कम करने की कोशिश करने वाला हूँ । इस पोस्ट को पढ़ने के बाद आप ऑप्शन चैन को अच्छी तरह से आसानी से समझ पाएंगे ।
बहुत सारे ट्रेडर्स के मन में सवाल आते है की
“स्टॉक ऑप्शन चैन कैसे पढ़ा जाए “? (How to read option chain?)
“ऑप्शन चैन को किस प्रकार खोजे” ? (How to Find Option Chain?)
” ऑप्शन चैन चार्ट का विश्लेषण किस प्रकार करे “?
ऑप्शन चैन एक ऐसा चार्ट होता है, जो ट्रेडर को महत्वपूर्ण जानकारी उपलब्ध कराता है, जो एक ट्रेडर को लाभदायक निर्णय लेने में काफी मदद करता है। यदि आप भी OPTIONS में लाभदायक ट्रेडर बनने की चाहत रखते हैं तो आपको भी ऑप्शन चैन चार्ट में महारत हासिल करना बहुत ही आवश्यक हो जाती है। यह पोस्ट आपको ऑप्शन चैन की अच्छी समझ हासिल करने में काफी मदद करेगा, इसमें उपस्थित उपलब्ध विभिन्न आंकड़ों से आपकी समझ बढ़ेगा औरआपको सही निर्णय लेने में काफी मदद मिलेगी।
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ऑप्शन चैन क्या होती है? (What is option chain)
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ऑप्शन चैन को कैसे समझते है ? (How to read option chain)
आइए सबसे पहले हम देखते हैं कि ऑप्शन चेन कैसा दिखता है और इसमें उपलब्ध विभिन्न डेटा को हम कैसे समझते हैं। एनएसइ इंडिया (Option Chain in NSE) आपको सभी प्रकार के ट्रेडिंग विकल्पों के लिए ऑप्शन चैन चार्ट (Option Chain Chart) प्रदान करता है। चलिए अब देखते है की ऑप्शन चैन को किस प्रकार ढूंढा जाता है।
(1.) ऑप्शन चैन क्या होती है? What is Option chain?
ऑप्शन चैन एक ऐसी चार्ट लिस्टिंग है जहाँ पर उपलब्ध कॉल (Call) और पुट (Put) के सभी विकल्पों की एक सूची मौजूद होती है। उस लिस्टिंग में अलग-अलग स्ट्राइक प्राइस के लिए प्रीमियम, वॉल्यूम, ओपन इंटरेस्ट आदि की जानकारी उपलब्ध होती है। जो समय समय पर बदलती रहती है।
इसका ऑफिसियल साइट www.nseindia.com पर जाकर Product पर माउस का कर्सर रखे निचे आपको इक्विटी डेरिवेटिव्स (Equity Derivatives) दिखाई देगा आपको उसी पर क्लिक करना है।
आप इक्विटी डेरिवेटिव (Equity Derivatives) पर जैसे ही क्लिक करेंगे आप निचे जो इमेज वाले पेज पर आ जायेंगे यही option चैन है .
option chain इस पृष्ठ पर कॉल और पुट ऑप्शन होती है जो अलग अलग भागों में विभाजित होती है बाईं ओर कॉल ऑप्शन तथा दाएं ओर put ऑप्शन का डाटा मौजूद होता है .
option chain के सेंटर में विभिन्न स्ट्राइक प्राइस होता है .
स्ट्राइक प्राइस के दोनों किनारों पर विभिन्न डेटा रहता है जैसे कि OI, Change in Oi, Volume, Iv, LTP, Net Chang, Bid Qty, ask price, ask Qty
हमें देखने के लिए मिलता हैं दोनों तरफ का डाटा अलग-अलग कलर में विद्यमान होती है या उस को हाइलाइट किया गया है और बाकी सफेद रंग में हैं.
(2) ऑप्शन चैन को कैसे समझते है ? How to undertand Option Chain?
ये ऑप्शन चैन चार्ट के विभिन्न भाग है। आईये, अब हम ऑप्शन चैन के प्रत्येक भाग को विस्तार से समझते है (Option chain Explained)
(1) ऑप्शन के प्रकार (Options Types)
ऑप्शन मुख्यतः दो प्रकार के होते हैं; कॉल (Call) और पुट (Put)। कॉल (Call) ऑप्शन एक ऐसा है कॉन्ट्रॅक्ट है जो आपको एक निश्चित मूल्य पर और ऑप्शन की समाप्ति
तिथि के भीतर शेयर खरीदने का अधिकार देता है। कृपया याद रखें कि कॉन्ट्रॅक्ट आपको अधिकार भर देता है लेकिन आपके लिए शेयर खरीदना अनिवार्य नहीं है।
दूसरी तरफ देखे तो एक पुट (Put) ऑप्शन, एक ऐसा कॉन्ट्रॅक्ट है जो आपको अधिकार देता है, लेकिन निर्देशित मूल्य पर और ऑप्शन की समाप्ति तिथि के भीतर ही शेयर को बेचने की बाध्यता नहीं देता है। यहां पर फिर से यह कॉन्ट्रॅक्ट आपको अधिकार देता है लेकिन आपके लिए शेयर को बेचना अनिवार्य नहीं है।
(2) स्ट्राइक मूल्य (Strike Price)
स्ट्राइक मूल्य (Strike Price) वही मूल्य होता है जिसे आप ऑप्शन के खरीदार और विक्रेता के रूप में कॉन्ट्रॅक्ट का पालन करने के लिए सहमत होते हैं। आप का ऑप्शन ट्रेड(Option Treade ) तभी लाभदायक हो सकता है, जब आप किसी कॉन्ट्रॅक्ट की प्राइस की स्ट्राइक प्राइस को पार कर ऊपर जाएगी है।
Option Chain के दोनों तरफ का एक डाटा उपलब्ध होता है जो इस प्रकार है जैसे OI, Chng in Ol, Volume, IV, LTP, Net Chng, Bid Qty, Bid Price, Ask Price और Ask Qty, आदि तो आइए हम एक एक करके इसके बारे में समझते हैं कि उनमें से प्रत्येक का मतलब क्या होता है।
(1) ओपन इंट्रेस्ट (OI)
Open Interest एक ऐसा डेटा होता है जो किसी ऑप्शन के एक विशेष स्ट्राइक प्राइस में सभी ट्रेडर्स के हित को दर्शाने के लिए मदद करता है। Open Interest आप को बताए गए कॉन्ट्रॅक्ट की चालू संख्या के बारे में भी जानकारी देता है जो कि Market में Tread किए जाते हैं। किसी Option के विशेष स्ट्राइक प्राइस के लिए ट्रेडर्स के बीच संख्या जितनी अधिक होती है , उतना ही अधिक ब्याज देना होता है । इसलिए हमें उचित होने पर ही आप अपने ऑप्शन का ट्रेड करने के लिए सोचना चाहिए हैं।
(4) ओपन इंट्रेस्ट में बदलाव (Chng in Ol)
यह सभी ट्रेडर को समाप्ति अवधि के भीतर ही ओपन इंटरेस्ट में बदलाव के बारे में बताता है। एक ट्रेडर को ओपन इंट्रेस्ट में परिवर्तन को सावधानीपूर्वक हमेशा निगरानी करते रहना चाहिए।
(5) ओपन इंट्रेस्ट वॉल्यूम (Open Interest Volume)
ओपन इंट्रेस्ट वॉल्यूम (Open Interest Volume) ऑप्शन में ट्रेडर्स के हित का एक और संकेत देता है। Open Interest Volume यह हमें बताता है कि बाजार में किसी विशेष स्ट्राइक प्राइस पर जो भी ऑप्शन कॉन्ट्रॅक्ट का कारोबार किया जाता है। इसकी गणना प्रति दिन के आधार पर की जाती है। वॉल्यूम आपको और ट्रेडर्स के बीच मौजूदा रुचि को समझने में काफी मदद करती है ।
(6) अंतर्निहित अस्थिरता (Implied Volatility)
अंतर्निहित अस्थिरता का मतलब है, IMPLIED VOLATILITY यानि इन्हे हम संछिप्त में (IV) कहते है, यह हमें प्राइस की हलचल के बारे में हमें बताता है । एक अच्छा उच्च अंतर्निहित अस्थिरता (Implied Volatility) का आशय है कि कीमतों में उच्च रुझान की संभावना और कम अंतर्निहित अस्थिरता (Implied Volatility) का मतलब है कम रुझान की संभावना ।अंतर्निहित अस्थिरता हमें ऊपर की ओर हो या नीचे की ओर की दिशा के बारे में नहीं बताता है।
(7) अंतिम ट्रेडेड price (Last Traded Price)
अंतिम ट्रेडेड प्राइस का मतलब यह है की आखरी ट्रेड प्राइस जो भी मूल्य पर स्टॉक ट्रेड कर रहा है उसे ही अंतिम ट्रेडेड price (Last Traded Price) कहते है।
(8) शुद्ध परिवर्तन (Net Change)
यह अंतिम ट्रेडेड प्राइस में तत्काल शुद्ध परिवर्तन है। सकारात्मक परिवर्तन यानि की प्राइस में वृद्धि, यह हरे रंग में रंगीत दिखाई दिए जाते हैं जबकि नकारात्मक परिवर्तन प्राइस में लाल रंग में रंगीत दिखाई दिए जाते हैं ।
(9) बोली मात्रा (Bid Qty)
यह किसी विशेष स्ट्राइक प्राइस के लिए शेयर खरीदने की संख्या है। यह आपको एक ऑप्शन के स्ट्राइक प्राइस की मौजूदा मांग के बारे में भी बताता है।ट्रेडर को इसके बारे जानना जरुरी हो जाता है।
(10 ) बोली मूल्य (Bid Price)
यह वह प्राइस है जिस रेट पर आखरी खरीद दार ने ऑप्शन ख़रीदा होता है। इसलिए अंतिम ट्रेडेड प्राइस से अधिक कीमत बतला सकती है कि ऑप्शन की मांग अब बढ़ रही है, या कम हो रही है ।
(11) पूछा हुवा मूल्य (Ask Price)
यह वह प्राइस है जिस रेट पर आखरी खरीद दार ने ट्रेड में शेयर बेचा रहता है।
(12) पूछी हुवी मात्रा (Ask Qty)
यह एक विशेष प्रकार का स्ट्राइक प्राइस के लिए खुले विक्रय आदेशों की संख्या होती है। यह आपको ऑप्शन के लिए सप्लाई के बारे में विस्तृत जानकारी उपलब्ध करता है ।
अब हम समझते हैं की option Chain का एक हिस्सा ऐसे अलग कलर में क्यों हाइलाइट किया जाता है, जबकि बाकी को सफेद रंग में हाइलाइट किया जाता है। इसे समझने के लिए, हमें सबसे पहले ITM, ATM और OTM को जानने की आवश्यकता है ।
इन-द-मनी (ITM): – आईटीएम में एक कॉल का ऑप्शन है, यदि इसका स्ट्राइक प्राइस मौजूदा बाजार मूल्य से कम रहता है तो उसे ITM CALL कहा जाता है और एक पुट OPTION का ITM होता है यदि इसका स्ट्राइक price मौजूदा बाजार मूल्य से अधिक रहता है, तो उसे ITM PUTकहा जाता है ।
एट-द-मनी (ATM):- जब भी कोई कॉल या पुट OPTION का स्ट्राइक प्राइस वर्तमान बाजार प्राइस के बराबर होता है तब उसको एटीएम कहा जाता है ।
आउट-द-मनी (OTM):- यदि स्ट्राइक प्राइस वर्तमान बाजार मूल्य से अधिक होता है तो उस कॉल ऑप्शन को OTM कहा जाता है । और इसी प्रकार एक पुट ओटीएम का price वर्तमान बाजार मूल्य से अधिक होता है तो उस पुट ऑप्शन को OTM कहा जाता है।
जो हाइलाइट किया गया हिस्सा है, वह आईटीएम में है, जबकि सफेद रंग में जो हिस्सा है वह ओटीएम हैं। इसलिए कॉल ऑप्शंस के लिए, स्ट्राइक मूल्य को हाइलाइट किया जाता है, जबकि पुट ऑप्शन के लिए भी वर्तमान कीमत से अधिक ऑप्शन स्ट्राइक हो जाता है ।
(13) पूछी हुवी मात्रा (Ask Qty) :-
यह एक विशेष स्ट्राइक प्राइस के लिए खुले विक्रय के आदेशों की संख्या है। यह आपको ऑप्शन के लिए सप्लाई के बारे में पूरा बताता है । share market